भेड़-बकरी सबसे कम संसाधनों वाला पशुपालन : डॉ. अजय कुमार सिंह
कानपुर, 15 दिसंबर (हि. स.)। उत्तर प्रदेश के कानपुर जनपद में कम्पनी बाग़ स्थित चंद्रशेखर आजाद कृषि एवं प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय के अधीन संचालित कृषि विज्ञान केंद्र दिलीप नगर में व्यवसायिक भेड़ एवं बकरी पालन प्रशिक्षण कार्यक्रम का शुभारंभ किया गया। यह जानकारी सोमवार को पशु पालन वैज्ञानिक डॉ शशीकांत ने दी।
पशु पालन वैज्ञानिक डॉ शशीकांत ने वैज्ञानिक पद्धति से भेड़-बकरी का प्रशिक्षण देते हुए कहा कि यह प्रशिक्षण 15 से शुरूआत हुई है और 19 दिसंबर तक चलेगा।
केवीके के प्रभारी डॉ. अजय कुमार सिंह ने कहा कि भेड़-बकरी सबसे कम संसाधनों वाला पशुपालन है। वहीं शारीरिक ग्रोथ भी बकरी का तेजी से हाेता है।
उन्होंने कहा कि लागत के मुकाबले बकरी पालन से होने वाली कमाई का अनुपात दो से तीन गुना तक हो सकता है। बशर्ते वैज्ञानिक ढंग से बकरी पालन किया जाए। बकरियों की खाद (मिगनी) भी बहुत उपयोगी होती है। साथ ही इनकी खाद एक बार डालने के बाद 6-7 साल तक जमीन को प्रचुर मात्रा में पोषण तत्व देती रहती है। किसान की फसलों के उत्पादन आमदनी में भी बढ़ोतरी होती है। इस प्रशिक्षण में 25 प्रशिक्षणार्थियों को प्रशिक्षण दिया जा रहा है।
हिन्दुस्थान समाचार / मो0 महमूद

