हाथरस में चार अपात्र शिक्षक कर रहे नौकरी, नहीं समाप्त हुई सेवाएं और चल रहा नोटिस—नोटिस का खेल
हाथरस, 5 दिसंबर (हि.स.)। उत्तर प्रदेश के हाथरस जिले में बेसिक शिक्षा विभाग में काफी गड़बड़ी हाे रही है। हालात यह हैं कि विभागीय सचिव के आदेश के छह माह बाद भी जिले में सरकारी स्कूलाें में कार्यरत चार अपात्र शिक्षकों की सेवाएं अभी तक समाप्त नहीं की गई है। बीएसए स्वाति भारती का कहना है कि संबंधित शिक्षकाें काे अंतिम नाेटिस दी गई है।
कोर्ट के आदेश के आदेश पर बेसिक शिक्षा विभाग के सचिव ने 9 मई 2025 को आदेश जारी कर निर्धारित तिथि तक शैक्षिक अहर्ता पूरी न करने वाले शिक्षकों की सेवा समाप्त करने का आदेश जारी किया था। आदेश में कहा गया था कि 69000 शिक्षक भर्ती की अधिसूचना 1 दिसंबर 2018 को जारी हुई थी। आवेदन की अंतिम तिथि 22 दिसंबर 2018 तय की गई थी। आदेश में कहा था कि आवेदन की अंतिम तिथि तक शैक्षिक अहर्ता पूरी न करने शिक्षकों की सेवा समाप्त कर जिम्मेदारों के खिलाफ भी कारवाई की जाए।
शासनादेश के क्रम में बीएसए ने 24 मई को तीन सदस्यीय समिति गठित कर आख्या प्रस्तुत करने के निर्देश दिए थे। जांच समिति ने 9 जून को बीएसए कार्यालय में आख्या प्रस्तुत की। आख्या में 69000 शिक्षक भर्ती में अपात्र शिक्षक सामने आए। अपात्र शिक्षकों में हाथरस ब्लॉक के प्राथमिक विद्यालय नगला खिरनी की श्रष्टि सारस्वत, मुरसान ब्लॉक के प्राथमिक विद्यालय नगला धर्मा के मनोज कुमार, सासनी ब्लॉक के प्राथमिक विद्यालय विद्यालय छौंड़ा की रेखा, सिकन्दराराऊ ब्लॉक के प्राथमिक विद्यालय शेखगढ़ी के अंकित बरुआ शामिल हैं। जांच समिति के आख्या के आधार पर बीएसए स्वाति भारती ने इन चारों शिक्षकों को नोटिस जारी कर अपना पक्ष प्रस्तुत करने के निर्देश दिए थे। नोटिस जारी होने के बाद भी करीब चार माह बीत चुके हैं, लेकिन इन शिक्षकों की सेवा समाप्त नहीं हुई है। इस संबंध में बीएसए स्वाति भारती का कहना है कि इन शिक्षकों को अंतिम नोटिस जारी कर अंतिम अवसर दिया गया है।
---------------
हिन्दुस्थान समाचार / लकी शर्मा

