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राहुल गांधी की "भारत जोड़ो न्याय यात्रा" रायगढ़ पहुंची

कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने अपनी "भारत जोड़ो न्याय यात्रा" का आगाज करते हुए रायगढ़ में प्रवेश किया है। उनकी यात्रा का आगाज ओडिशा से किया गया था . 
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रायगढ़ : कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने अपनी "भारत जोड़ो न्याय यात्रा" का आगाज करते हुए रायगढ़ में प्रवेश किया है। उनकी यात्रा का आगाज ओडिशा से किया गया था और अब वह रायगढ़ में अपनी अगली कदम रख रहे हैं।

नौ और 10 फरवरी को छुट्टी के बाद, 11 फरवरी को राहुल गांधी ने कांशीराम चौक से रायगढ़ शहर के भ्रमण की शुरुआत की है। इसके बाद, यह यात्रा खरसिया होते हुए शक्ति व कोरबा की ओर रवाना होगी। इन जिलों से होकर कांग्रेस नेता राहुल गांधी की न्याय यात्रा सरगुजा संभाग के सूरजपुर जिले में पहुंचेगी।

राहुल गांधी ने रायगढ़ में जातीय जनगणना पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के खिलाफ तीखा ताकत का संदेश दिया है। उन्होंने जनगणना को लेकर सरकार की व्यवस्था पर सवाल उठाए और लोगों को इसमें शामिल होने के लिए उत्तेजित किया।

रायगढ़ में जनसभा को संबोधित करते हुए राहुल गांधी ने जाति जनगणना का मुद्दा एक बार फिर उठाया। उन्होंने कहा कि 73 प्रतिशत लोगों को भागीदारी मिलनी चाहिए। राहुल गांधी ने कहा कि मीडिया में ओबीसी, दलित और एसटी की कितनी भागीदारी है। राहुल गांधी ने कहा, 'हमने भारत जोड़ो यात्रा शुरू की थी, जिसमें कन्याकुमारी से कश्मीर तक गए। इस दौरान चार हजार किलोमीटर चले और उस यात्रा का लक्ष्य भाजपा देश में नफरत फैला रही है, हिंसा का माहौल बना रही है, उसके खिलाफ खड़े होने का था।'

राहुल गांधी ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की जाति को लेकर पहली बार बड़ा हमला करते हुए कहा कि नरेंद्र मोदी ओबीसी वर्ग से नही आते, बल्कि वे सामान्य वर्ग से आते हैं। राहुल ने आरोप लगाया कि प्रधानमंत्री मोदी खुद को ओबीसी बताकर लोगों को गुमराह कर रहे हैं। वे गुजरात की तेली जाति में पैदा हुए थे। उस समुदाय को साल 2000 में भाजपा ने ओबीसी में शामिल किया। वे (पीएम मोदी) सामान्य वर्ग में पैदा हुए थे...वे कभी भी जातिगत जनगणना को नहीं कराएंगे क्योंकि वे ओबीसी में पैदा नहीं हुए थे।'

राहुल गांधी ने कहा, 'भारत जोड़ो यात्रा से बहुत खूबसूरत नारा निकला था। 'नफरत के बाजार में मोहब्बत की दुकान खुली' और ये लाइन कांग्रेस की विचारधारा को बहुत गहराई से किसी को भी समझा देती है। वो नफरत की दुकान खोलते हैं, हम मोहब्बत की दुकान खोलते हैं। वो हिंसा के बाजार चलाते हैं और हम अहिंसा की दुकानें चलाते हैं। हमने जब यह यात्रा खत्म की तब कई राज्यों से लोग आये और उन्होंने कहा आपने साउथ से नार्थ कर दिया और जिसमें कई राज्य छूट गए इसलिए आपको दूसरी यात्रा करनी चाहिए। जिसके बाद हम इस बात से सहमत हुए।'