छत्तीसगढ़ में 47 हजार करोड़ की रेल विकास परियोजनाएं प्रगति पर

रायपुर, 27 जून (हि.स.)। छत्तीसगढ़ की अर्थव्यवस्था को रफ्तार देने के लिए नई-नई रेल परियोजनाओं को मंजूरी मिल रही है। वर्ष 2014 से पूर्व छत्तीसगढ़ में केवल 1100 रूट किलोमीटर रेल लाइन बिछाई गई थी। वहीं, वर्ष 2014 से 2030 तक प्रदेश में रेल नेटवर्क दोगुना बढ़कर 2200 रूट किलोमीटर हो जाएगा।
मुख्यमंत्री कार्यालय द्वारा दी गई जानकारी के अनुसार, केन्द्र सरकार द्वारा वर्ष 2025-26 के बजट में छत्तीसगढ़ को 6925 करोड़ की राशि आवंटित की गई है। वर्तमान में केन्द्र सरकार की मदद से छत्तीसगढ़ में 47 हजार करोड़ की लागत से रेल विकास परियोजनाओं का कार्य प्रगति पर है। राज्य को दो नई वंदे भारत ट्रेन रायपुर-विशाखापटनम और रायपुर-नागपुर की सौगात मिली है। इसके अलावा राज्य सरकार ने मेट्रो ट्रेन के लिए सर्वे कराने का भी निर्णय लिया है।
राज्य के 32 स्टेशनों को अमृत भारत स्टेशन योजना के तहत वर्ल्ड क्लास रेलवे स्टेशन के रूप में विकसित किया जा रहा है। हाल में ही प्रधानमंत्री मोदी ने अमृत भारत रेल्वे स्टेशन योजना के तहत राज्य के 5 पुनर्विकसित अंबिकापुर, उरकुरा, भिलाई, भानुप्रतापपुर एवं डोंगरढ़ स्टेशनों का लोकार्पण किया गया है।
अमृत भारत रेल्वे स्टेशन योजना में लगभग 1680 करोड़ की लागत से 32 रेलवे स्टेशनों का पुनर्विकास किया जा रहा है, जिनमें तीन प्रमुख स्टेशनों बिलासपुर (लागत 435 करोड़), रायपुर (लागत-463 करोड़) एवं दुर्ग स्टेशन (लागत-456 करोड़) का व्यापक पुनर्विकास भी शामिल है। अमृत भारत स्टेशन के अंतर्गत भाटापारा, भिलाई पावर हाउस, तिल्दा नेवरा, बिल्हा, बालोद, दल्लीराजहरा, हथबंद, सरोना, मरोदा, मंदिरहसौद, निपानिया, भिलाई नगर, रायपुर, दुर्ग, राजनांदगांव, रायगढ़, बाराद्वार, चाम्पा, नैला, जांजगीर, अकलतरा, कोरबा, उसलापुर, पेंड्रा रोड, बैकुंठपुर रोड, बिलासपुर, महासमुंद, जगदलपुर के स्टेशनों का पुनर्विकास किया जा रहा है।
वर्तमान में छत्तीसगढ़ में 47 हजार करोड़ की लागत से स्वीकृत रेल परियोजनाओं का निर्माण किया जा रहा है। इनमें प्रमुख परियोजनाएं राजनांदगांव-नागपुर तीसरी लाइन लम्बाई 228 किमी, छत्तीसगढ़ में 48 किमी- लागत 3544.25 करोड़, बिलासपुर-झारसुगुड़ा चौथी लाइन, लंबाई-206 किमी, छत्तीसगढ़ में 153 किमी- लागत 2135.34 करोड़, खरसिया-धरमजयगढ़ नई रेल लाइन, लंबाई-162.5 किमी- लागत 3438.39 करोड़, गौरेला-पेंड्रा रोड-गेवरा रोड परियोजना, लंबाई 156.81 किमी- लागत 4970.11 करोड़, केन्द्री-धमतरी एवं अभनपुर-राजिम आमान परिवर्तन, लंबाई-67.20 किमी- लागत- 544 करोड़, बोरिडांड-अम्बिकापुर दोहरीकरण, लंबाई 80 किमी- लागत-776 करोड़, चिरमिरी-नागपुर न्यू हॉल्ट लाइन, लंबाई-17 किमी- लागत-622.34 करोड़ रुपये है।
रेल मंत्रालय ने रावघाट-जगदलपुर नई रेल लाइन (140 किमी) परियोजना को स्वीकृति प्रदान कर दी है। इस परियोजना पर 3513.11 करोड़ की लागत आएगी। बस्तर में केके रेल लाईन (कोत्तवलसा से किंरदुल) दोहरीकरण का काम तेजी से चल रहा है। 446 किलोमीटर लंबी रेल लाईन में 170 किलोमीटर हिस्सा छत्तीसगढ़ का है। इसमें 148 किलोमीटर लंबी रेल लाइन के दोहरीकरण का कार्य पूर्ण हो चुका है।
कोठागुडेम (तेलंगाना) से किरंदुल तक प्रस्तावित 160.33 किमी लंबी नई रेल लाइन के फाइनल लोकेशन सर्वे काे केंद्र सरकार द्वारा स्वीकृति मिलने के बाद अब अंतिम चरण में है। इस प्रस्तावित रेल लाइन का 138.51 किमी हिस्सा छत्तीसगढ़ के सुकमा, दंतेवाड़ा और बीजापुर से होकर गुजरेगा, जो अब तक रेल कनेक्टिविटी से वंचित रहे हैं।
छत्तीसगढ़ में अम्बिकापुर-बरवाडीह 200 किलोमीटर की लागत 9718 करोड़, खरसिया-नया रायपुर-परमलकसा नई रेल लाइन 278 किलोमीटर की लागत 7854 करोड़, रावघाट-जगदलपुर नई रेल लाइन 140 किलोमीटर की लागत 3513 करोड़, सरदेगा-भालूमाड़ा नई रेललाइन 37.24 किलोमीटर की लागत 1282 करोड़ और धरमजयगढ़-पत्थलगांव-लोहरदगा 301 किलोमीटर की लागत 16,834 करोड़ की रेल परियोजनाओं का डीपीआर तैयार हो रहा है। धरमजयगढ़-लोहरदगा और अंबिकापुर-बरवाडीह रेल परियोजना के लिए सर्वेक्षण का काम अंतिम चरण में।
छत्तीसगढ़ सरकार द्वारा रेल कनेक्टिविटी को बढ़ाने के लिए कटघोरा से डोंगरगढ़ रेल लाईन निर्माण के लिए 300 करोड़ का बजट प्रावधान किया गया है। इस रेल लाइन के बनने से नागपुर-झारसुगुड़ा रेल मार्ग पर चलने वाली मालगाड़ियों का लोड कम होगा। छत्तीसगढ़ खनिज विकास निधि सलाहकार समिति द्वारा छत्तीसगढ़ रेलवे कॉरपोरेशन को डोंगरगढ़-कबीरधाम-मुंगेली-कटघोरा रेलमार्ग के लिए भू-अर्जन एवं प्रारंभिक निर्माण कार्य के लिए 300 करोड़ की राशि दिए जाने की स्वीकृति प्रदान की गई।
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हिन्दुस्थान समाचार / केशव केदारनाथ शर्मा