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आंगनबाड़ी केंद्रों में साफ-सफाई और संगठित वातावरण बनाने प्रयास किया जा रहा

 कलेक्टर अजीत वसंत के निर्देशन एवं जिला पंचायत सीईओ संबित मिश्रा के मार्गदर्शन में जिले में निर्मल आंगनबाड़ी अभियान का संचालन किया जा रहा है।
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कोरबा । कलेक्टर अजीत वसंत के निर्देशन एवं जिला पंचायत सीईओ संबित मिश्रा के मार्गदर्शन में जिले में निर्मल आंगनबाड़ी अभियान का संचालन किया जा रहा है। अभियान के तहत महिला एवं बाल विकास अधिकारी एवं समस्त एकीकृत बाल परियोजना अधिकारी के सहयोग से जिले के सभी आंगनबाड़ी केंद्रों में साफ-सफाई और संगठित वातावरण बनाने हेतु सतत् प्रयास किया जा रहा है। अभियान के तहत 10 एकीकृत बाल विकास परियोजना एवं 91 क्षेत्र के अंतर्गत सभी आंगनबाडी केंद्रों को निर्मल बनाने का लक्ष्य रखा गया है। अभियान का मुख्य उद्देश्य आंगनबाडी केंद्र में बच्चों के अनुकूल स्वच्छ वातावरण निर्मित करना है। इस हेतु विभिन्न चरणों में अभियान चलाया जा रहा है। पहले चरण के अंतर्गत आंगनबाड़ी परिसर को स्वच्छ रखने का कार्य किया गया है, जिसमें केंद्र के प्रवेश द्वार, परिसर, और बाहरी क्षेत्र को निगरानी में रखने के साथ ही कमरे, फर्श की सफाई, उपयोगी खिलौनों, पोस्टर, प्ले-कार्ड, और अन्य सामग्री को सुव्यवस्थित रखना सुनिश्चित किया जा रहा है। इससे बच्चों में खेल-कूद व अन्य गतिविधि की क्षमता वृद्धि भी होगी, साथ ही बच्चों का सही रूप से मानसिक व शारीरिक विकास होगा। अभियान के तहत बच्चों के बेहतर स्वास्थ्य एवं पोषण हेतु रसोई और भंडार कक्ष का भी विशेष ध्यान रखा जा रहा है। खाद्य पदार्थों की सुरक्षा और स्वच्छता हेतु स्वच्छ और संगठित भंडार कक्ष तैयार किया जा रहा है।

इस अभियान को सफल बनाने के लिए गैर शासकीय संस्था पीरामल फाउंडेशन अहम योगदान दे रही है। संस्था द्वारा आंगनबाड़ी केंद्रों में सुधार के साथ ही समुदाय के सभी वर्गों को एक-दूसरे से जोड़ने का प्रयास किया जा रहा है। इस हेतु टीम द्वारा समुदाय स्तर पर सभी सदस्यों को संयुक्त रूप से सहयोग करने के लिए प्रेरित किया जा रहा है। पंचायत स्तर पर इसका नेतृत्व सरपंच एवं सचिव द्वारा किया जा रहा है। जिससे ग्राम पंचायत स्तर पर एक समृद्ध और सामूहिक साक्षरता का वातावरण निर्मित होगा।

निर्मल आंगनबाड़ी अभियान अंतर्गत 1949 को शामिल किया गया। फाउण्डेशन के गांधी फेलो द्वारा आंगनबाड़ी सुपरवाईजर एवं कार्यकर्ता, स्वसहायता समूह, युवाओं और अभिभावकों के सामूहिक प्रयासों से यह अभियान चलाया गया।