भारत वैश्विक नवीकरणीय ऊर्जा वृद्धि के प्रमुख चालक के रूप में उभर रहा है: प्रह्लाद जोशी
पुरी, 06 दिसंबर (हि.स)। केंद्रीय नवीन एवं नवीकरणीय ऊर्जा मंत्री प्रह्लाद जोशी ने शनिवार को कहा कि भारत वैश्विक नवीकरणीय ऊर्जा वृद्धि के प्रमुख चालक के रूप में उभर रहा है। देश ने चालू वित्त वर्ष में 31.25 गीगावाट (गीगावाट) की हरित ऊर्जा क्षमता में अबतक की सबसे ज्यादा वृद्धि दर्ज की है, जिसमें 24.28 गीगावाट सौर ऊर्जा भी शामिल है।
मंत्री जोशी ने यहां ग्लोबल एनर्जी लीडर्स समिट 2025 के उद्घाटन सत्र को संबोधित करते हुए यह बात कही। उन्होंने ओडिशा के लिए 1.5 लाख रूफटॉप सोलर यूएलए (यूटिलिटी एलईडी एग्रीगेशन) मॉडल की भी घोषणा की, जिससे राज्य भर में 7-8 लाख लोगों को फायदा होगा। जोशी ने पुरी में वैश्विक ऊर्जा नेताओं के शिखर सम्मेलन को संबोधित करते हुए कहा कि ने कहा कि 2022 में 1 गीगावाट नवीकरणीय ऊर्जा क्षमता तक पहुंचने में लगभग 70 वर्षों का समय लगने के बाद दुनिया ने 2024 तक 2 गीगावाट क्षमता हासिल कर ली है, जो मात्र दो वर्षों में एक दूसरा टेरावाट है। भारत नवीकरणीय ऊर्जा में इस तीव्र वैश्विक उछाल का एक प्रमुख चालक है। उन्होंने कहा कि पिछले 11 वर्षों में देश की सौर क्षमता 2.8 गीगावाट से बढ़कर लगभग 130 गीगावाट हो गई है, जो 4,500 फीसदी से अधिक की वृद्धि है। अकेले 2022 और 2024 के बीच भारत ने वैश्विक सौर ऊर्जा वृद्धि में 46 गीगावाट का योगदान दिया, जो तीसरा सबसे बड़ा योगदानकर्ता बन गया।
केंद्रीय मंत्री ने राज्य में 1 किलोवाट क्षमता वाले 1.5 लाख रूफटॉप सौर ऊर्जा संयंत्र स्थापित करने के लिए पीएम सूर्य घर के तहत उपभोक्ता-स्वामित्व वाले यूटिलिटी-लेड एग्रीगेशन मॉडल को मंजूरी देने की घोषणा की। इससे ओडिशा के लगभग 7-8 लाख लोगों, खासकर आर्थिक रूप से कमजोर परिवारों को लाभ होगा। उन्होंने कहा कि पीएम सूर्यघर मुफ्त बिजली योजना के तहत अब तक 23 लाख घरों को कनेक्टिविटी मिल चुकी है। हालांकि, जो लोग लोन लेने के बाद भी इसे अपनी छतों पर नहीं लगवा पा रहे हैं, उनके लिए राज्य सरकार ने एक उपयोगिता-प्रेरित एकत्रीकरण मॉडल शुरू किया है। यह उपयोगिता-प्रेरित एकत्रीकरण मॉडल गरीबों को बड़ी राहत देगा।
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हिन्दुस्थान समाचार / प्रजेश शंकर

