असम विधानसभा में राज्य स्तरीय ‘विकसित भारत युवा संसद’ आयोजित

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असम विधानसभा में राज्य स्तरीय ‘विकसित भारत युवा संसद’ आयोजित


-140 युवा प्रतिनिधियों ने लिया हिस्सा, सर्वश्रेष्ठ प्रतिभागी होंगे राष्ट्रीय स्तर पर सम्मानित

गुवाहाटी, 26 मार्च (हि.स.)। असम विधानसभा के नए भवन के सेंट्रल हॉल में आज राज्य स्तरीय ‘विकसित भारत युवा संसद’ का भव्य आयोजन किया गया। इस एक दिवसीय कार्यक्रम में असम के सभी जिलों से चयनित 18 से 25 वर्ष आयु वर्ग के 140 युवा प्रतिनिधियों ने भाग लिया।

कार्यक्रम का उद्घाटन असम विधानसभा के अध्यक्ष बिश्वजीत दैमारी ने किया। उन्होंने भारत की लोकतांत्रिक व्यवस्था, विधायिका और कार्यपालिका की कार्यप्रणाली पर विस्तृत चर्चा की। अपने संबोधन में उन्होंने युवाओं को राजनीति में सक्रिय भूमिका निभाने के लिए प्रेरित किया। उन्होंने कहा, राजनीति को गलत नहीं कहा जा सकता, बल्कि इसे गलत लोग बदनाम करते हैं। अच्छे लोगों को राजनीति में आकर इसे बेहतर बनाना चाहिए।

इस अवसर पर असम की खेल और युवा कल्याण मंत्री नंदिता गार्लोसा, खेल और युवा कल्याण विभाग के विशेष सचिव के. जे. हिलाली और कई अन्य गणमान्य व्यक्ति उपस्थित रहे।

जिला स्तर की युवा संसद में चयनित प्रतिभागियों ने राज्य स्तरीय संसद में राष्ट्रीय मुद्दों पर विचार-विमर्श किया और अपनी नेतृत्व क्षमता का परिचय दिया। इस प्रतियोगिता में प्रदर्शन के आधार पर तीन सर्वश्रेष्ठ युवा प्रतिनिधियों का चयन किया गया, जो अब नई दिल्ली स्थित संविधान सदन में आयोजित होने वाली राष्ट्रीय स्तर की ‘विकसित भारत युवा संसद’ में भाग लेंगे।

कार्यक्रम का उद्देश्य युवाओं को देश की नीति निर्माण प्रक्रिया में शामिल करना, उनमें नेतृत्व कौशल का विकास करना और उन्हें नागरिक कर्तव्यों के प्रति जागरूक बनाना है। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की ‘विकसित भारत’ की परिकल्पना को साकार करने में इस प्रकार के आयोजनों की महत्वपूर्ण भूमिका है।

राज्य स्तरीय ‘विकसित भारत युवा संसद’ में युवाओं की भागीदारी यह दर्शाती है कि वे देश की प्रगति में सक्रिय भूमिका निभाने के लिए तैयार हैं। अब राष्ट्रीय स्तर पर असम के प्रतिनिधि अपनी क्षमता और दृष्टिकोण को प्रस्तुत करेंगे, जिससे न केवल उनके आत्मविश्वास में वृद्धि होगी, बल्कि वे भविष्य के नेतृत्वकर्ता के रूप में भी उभर सकते हैं।

हिन्दुस्थान समाचार / देबजानी पतिकर