जम्मू के सीमावर्ती जिलों में आतंकवाद को पुनर्जीवित करने की कोशिश कर रहा है पाकिस्तान: केसरी

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जम्मू , 28 मार्च (हि.स.)। जम्मू क्षेत्र के कठुआ जिले में आतंकवादी गतिविधियों में हाल ही में हुई वृद्धि से संकेत मिलता है कि पाकिस्तान जम्मू क्षेत्र में आतंकवाद को पुनर्जीवित करने की कोशिश कर रहा है। यह सब इस बात का संकेत है कि आतंकवादी संचालक और कुछ छोटे संगठन जो कि ज्यादातर उनके सहयोगी हैं पहाड़ी जिलों में आतंकवाद को पुनर्जीवित करने की कोशिश कर रहे हैं केसरी ने कहा कि कश्मीर में सक्रिय आतंकवादी कमांडर जम्मू जिलों में अपने नेटवर्क को फिर से स्थापित करने की बेताबी से कोशिश कर रहे हैं।

केसरी ने कहा कि पाकिस्तान जम्मू क्षेत्र में अत्यधिक प्रशिक्षित और अच्छी तरह से सुसज्जित आतंकवादियों को भेजकर जम्मू और कश्मीर में अशांति फैलाने की अपनी रणनीति बदल रहा है। प्रशिक्षित आतंकवादी भारत में प्रवेश करने और जंगल के अंदर छिपने के लिए नियंत्रण रेखा (एलओसी) का उपयोग करते दिखते हैं वहीं उनके कमांडर जम्मू क्षेत्र में अपने ठिकाने बनाने की भी कोशिश कर रहे हैं। सुरक्षा बलों ने आकलन किया है कि आतंकवादी अपनी गतिविधियों को वित्तपोषित करने और हथियार खरीदने के लिए एलओसी और पंजाब तक नार्को तस्करों का उपयोग कर रहे हैं।

केसरी ने आगे कहा कि भारत सरकार खुफिया एजेंसियां और सुरक्षा बल पाकिस्तान की रणनीति में बदलाव पर नज़र रख रहे हैं और यह केवल समय की बात है कि इस नए खतरे से निपटने के लिए सुरक्षा रणनीति बनाई जाए। केसरी ने पाकिस्तान की कड़ी निंदा करते हुए कहा कि यह एक ऐसा देश है जो आतंकवाद को बढ़ावा देता है और जम्मू-कश्मीर में शांति को बाधित करता है।

केसरी ने आतंकवादियों को खत्म करने में उनकी बहादुरी के लिए भारतीय सेना और जम्मू-कश्मीर पुलिस की प्रशंसा की। उन्होंने सुरक्षा बलों पर गर्व व्यक्त किया जो देश की रक्षा के लिए अपनी जान जोखिम में डालते हैं। केसरी ने कर्तव्य निभाते हुए अपनी जान गंवाने वाले शहीद सैनिकों को भी श्रद्धांजलि दी।

केसरी ने इस बात पर जोर दिया कि जम्मू-कश्मीर भारत का अभिन्न अंग है और कोई भी ताकत इसे देश से अलग नहीं कर सकती। उन्होंने जम्मू-कश्मीर के लोगों से सतर्क रहने और आतंकवाद को खत्म करने के लिए सुरक्षा बलों के साथ मिलकर काम करने का आग्रह किया।

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हिन्दुस्थान समाचार / रमेश गुप्ता