‘विद्यासेतु’ निशुल्क पुस्तक योजना शुरू
नैनीताल, 27 दिसंबर (हि.स.)। कुमाऊं विश्वविद्यालय ने शैक्षणिक संस्थानों के बीच सहयोग को बढ़ावा देने और क्षेत्र में एक सुसंगत शैक्षणिक वातावरण तैयार करने के उद्देश्य से ‘विद्यासेतु’ नाम की नई पहल शुरू की है। यह पहल छात्रों को बिना किसी वित्तीय बाधा के अपनी तैयारी को सशक्त बनाने में मदद करेगी।
बताया गया है कि यह पहल छात्रों को विचारों के आदान-प्रदान और संसाधनों के साझा उपयोग का अवसर प्रदान करेगी, जिससे वे विश्वविद्यालय प्रणाली की सामूहिक विशेषज्ञता और संसाधनों का लाभ उठा सकेंगे।
विश्वविद्यालय की ओर से बताया गया है कि कुलपति प्रो. दीवान रावत के मार्गदर्शन में ‘विद्यासेतु’ के तहत संबद्ध महाविद्यालयों के छात्रों को भी विश्वविद्यालय के समान शैक्षणिक संसाधन उपलब्ध कराने की योजना बनाई गई है। उम्मीद व्यक्त की गयी है कि यह कदम डिजिटल संसाधनों की उपलब्धता बढ़ाने और छात्रों के लिए सीखने के अवसरों का विस्तार करने में सहायक होगा।
विद्यार्थियों के शैक्षणिक और करियर विकास को प्राथमिकता देते हुए विश्वविद्यालय प्रशासन ने छात्रावासों में सिविल सेवा, बैंकिंग, एसएससी, राज्य स्तरीय परीक्षाओं और अन्य प्रमुख प्रतियोगी परीक्षा से संबंधित पुस्तकों-ईबुक्स की निःशुल्क व्यवस्था की गयी है।
कुलपति प्रो. रावत ने कहा, ‘विद्यासेतु’ पहल का उद्देश्य संबद्ध संस्थानों और विश्वविद्यालय के बीच सहयोग को बढ़ावा देना है। हमारी प्राथमिकता उच्च गुणवत्ता वाली शिक्षा और संसाधन सभी छात्रों तक पहुंचाना है। निशुल्क पुस्तकों की उपलब्धता न केवल आर्थिक रूप से कमजोर छात्रों को राहत प्रदान करेगी, बल्कि सभी को एक समान अवसर भी देगी।’ वहीं छात्र-छात्राओं ने ‘विद्यासेतु’ और निःशुल्क पुस्तक योजना की सराहना करते हुए इसे एक क्रांतिकारी कदम बताया। उनका कहना है कि इससे प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी के लिए उन्हें बाहर पुस्तकों पर निर्भर नहीं रहना पड़ेगा और वे अपनी र्जा और समय का बेहतर उपयोग कर सकेंगे।
हिन्दुस्थान समाचार / डॉ. नवीन चन्द्र जोशी