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बेजान हो चुके मैच में परिणाम प्राप्त करने का प्रयास करना टीम की रही प्राथमिकता : रोहित शर्मा

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बेजान हो चुके मैच में परिणाम प्राप्त करने का प्रयास करना टीम की रही प्राथमिकता : रोहित शर्मा


कानपुर, 01 अक्टूबर (हि.स.)। भारत-बांग्लादेश के बीच हुए कानपुर टेस्ट क्रिकेट मैच को जीतने के बाद भारतीय टीम के कप्तान रोहित शर्मा ने प्रेस वार्ता कर बताया कि भारत पहली पारी में कम स्कोर पर आउट होने का जोखिम उठाने को तैयार था, ताकि वह ऐसी पिच से परिणाम प्राप्त कर सके। जिसमें गेंदबाजों के लिए ज्यादा कुछ नहीं था। टेस्ट के आखिरी दो दिनों में साफ मौसम के कारण भारत ने पहले बांग्लादेश को पहली पारी में 233 रनों पर आउट कर दिया। आखिरी सात विकेट सिर्फ 121 रनों पर चटकाए और फिर दिन के आखिरी क्षणों में विपक्षी टीम पर एक और हमला करने के लिए सिर्फ 34.4 ओवरों में 9 विकेट पर 285 रन बनाकर पारी घोषित कर दी।

रोहित शर्मा ने कहा कि हमें इस बारे में बहुत सोचना पड़ा कि दो-ढाई दिन हारने के बाद खेल कैसे आगे बढ़ सकता है। जब हम चौथे दिन आए तो हमने सोचा ठीक है, चलो उन्हें जल्द से जल्द आउट करने की कोशिश करते हैं और फिर बल्ले से देखते हैं कि हम क्या कर सकते हैं। जब उन्होंने 230 के करीब रन बनाए तो हमने कहा कि यह हमारे द्वारा बनाए गए रनों के बारे में नहीं था, बल्कि यह उन ओवरों के बारे में था जिन्हें हम उन्हें फेंकना चाहते थे। इसका मतलब था कि हमें रन-रेट बढ़ाने की कोशिश करनी थी और जितना सम्भव हो सके उतने रन बनाने थे, क्योंकि पिच में गेंदबाजों के लिए ज्यादा कुछ नहीं था। मैच के बाद उन्होंने कहा कि उस समय उन्हें गेंदबाजी करने के लिए कम से कम 80 ओवर की जरुरत थी और जिस क्षण उन्होंने अंदर आकर यह बात कही तो सभी ने कहा कि इसके लिए प्रयास करेंगे और भले ही हम 230 रन से कम पर ऑल आउट हो जाएं। इसके लिए हम मानसिक रुप से तैयार हो गये थे और खुद मैने पहली दो गेंदों पर छक्का लगाकर बांग्लादेश की टीम पर मानसिक दबाव बनाया।

उन्होंने कहा कि आप इस तरह से माहौल बनाते हैं और जाहिर है कि हर कोई वहां से आगे बढ़ता है। रोहित ने आकाश दीप की भी प्रशंसा की, जिन्होंने दो टेस्ट मैचों की सीरीज में महत्वपूर्ण सफलताएं दिलाईं। चेन्नई में पहली पारी में, उन्होंने जाकिर खान और मोमिनुल हक को लगातार गेंदों पर बोल्ड किया और फिर कानपुर के खेल में दूसरी पारी के अर्धशतकधारी शादमान इस्लाम सहित तीन विकेट लिए। आगे कहा कि हम ऐसे गेंदबाजों का एक समूह बनाना चाहते हैं, जो किसी भी समय टेस्ट क्रिकेट खेलने के लिए तैयार हों क्योंकि इन दिनों बहुत अधिक क्रिकेट हो रहा है, बहुत अधिक चोटें और इस तरह की चीजें हो रही हैं। इसलिए आपको यह सुनिश्चित करना होगा कि आप खुद को और अपनी बेंच स्ट्रेंथ को इस तरह से तैयार करें कि अगर कोई चोटिल हो जाए, तो आप आकर उसकी जगह ले सकें।

जसप्रीत बुमराह, जिन्होंने दो मैचों की श्रृंखला में 11 विकेट लिए और तीन टेस्ट खेलने वाले आकाश दीप की प्रशंसा करते हुए कहा कि उनमें बहुत हिम्मत है। बुमराह को लेकर कहा कि अपने स्पेल से पहले वह अक्सर मेरे पास आते हैं और मुझसे पूछते हैं कि क्या हो रहा है, आपको क्या लगता है कि मुझे क्या करना चाहिए। हमारे बीच बहुत सारी दिलचस्प बातचीत हुई है। वह गेंद पर जो ऊर्जा लेकर आते हैं, मैदान में और साथ ही जब वह गेंदबाजी करते हैं, तो अपना सर्वश्रेष्ठ देते हैं। उनमें बहुत हिम्मत है। इसलिए यह हमारे लिए आगे बढ़ने के लिए एक शानदार संकेत है और जब भी वह गेंदबाजी करने आते हैं, तो अपना सर्वश्रेष्ठ देते हैं।

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हिन्दुस्थान समाचार / अजय सिंह